शहीदों की निशानियों पर बदहाली की धूल कब तक ? इसी घर में रहे थे चंद्रशेखर ‘आजाद’
वरिष्ठ पत्रकार, विजय भट्ट भारत में अंग्रेजों की हुकूमत थी। ये दौर था वर्ष 1930 के अगस्त माह के दूसरे सप्ताह का। जब चंद्रशेखर “आजाद”, हजारीलाल, रामचंद्र, छैलबिहारी लाल, विश्वम्भरदयाल और दुगड्डा निवासी उनके साथी क्रांतिकारी भवानी सिंह रावत दिल्ली से गढ़वाल की ओर चल पड़े। यह सभी भवनी सिंह रावत के दुगड्डा के पास नाथूपुर गांव जा रहे थे। …
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