Monday , 16 June 2025
Breaking News

उत्तराखंड : ठीक करा लें गाड़ी की लाइटें, वरना भरना पड़ेगा भारी जुर्माना

देहरादून: गाड़ियों में सामने की लाइटों के अलावा दूसरी लाइटों लोग कम की ध्यान देते हैं। गाड़ियों में इंडिकेटर, ब्रेक लाइट, हेडलाइन और पार्किंग लाइटें भी होती हैं। इन पर ध्यान भी कह ही देते हैं। अगर आपकी गाड़ी की लाइटें खराब हैं तो उनको जल्द ठीक करा लें। वरना आपको भारी जुर्माना चुकाना पड़ सकता है।

बिना इंडिकेटर, रिफ्लेक्टर, बैकलाइट और पार्किंग लाइट के चल रही गाड़ियों को चिन्हित किया जा रहा है। इसके लिए भी परिवहन विभाग जल्द अभियान चला सकता है। यह कवायद ठंड के मौसम में कोहरे के कारण होने वाले हादसों को रोकने के लिए की जा रही है। एआरटीओ (प्रवर्तन) संदीप सैनी ने देहरादून, विकासनगर, ऋषिकेश, रुड़की और हरिद्वार के एआरटीओ को निर्देशित किया गया है।

पहले वाहन स्वामियों को वाहनों की लाइटें ठीक कराने का अनुरोध किया जाएगा। अनुरोध नहीं मानने वालों पर कार्रवाई की जाएगी। दोबारा पकड़े जाने पर परिवहन विभाग के प्रावधानों के मुताबिक कार्रवाई की जाएगी। केंद्रीय सड़क, भूतल, परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय की एक रिपोर्ट के मुताबिक साल 2019 में उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़ समेत तमाम राज्यों में घने कोहरे की वजह से 33602 सड़क हादसे हुए जिसमें 13400 लोगों की मौत हो गई थी।

घने कोहरे की वजह से होने वाले सड़क हादसों का यह आंकड़ा साल 2018 में हुए सड़क हादसों से 14 प्रतिशत अधिक था। ठंड में कोहरे की वजह से होने वाले हादसों यह स्थिति तब है जब कि ठंड के मौसम में होने वाले सड़क हादसों को रोकने को लेकर राज्य सरकारों व परिवहन विभाग की ओर से तमाम एहतियाती कदम उठाए जाते हैं।

About प्रदीप रावत 'रवांल्टा'

Has more than 19 years of experience in journalism. Has served in institutions like Amar Ujala, Dainik Jagran. Articles keep getting published in various newspapers and magazines. received the Youth Icon National Award for creative journalism. Apart from this, also received many other honors. continuously working for the preservation and promotion of writing folk language in ranwayi (uttarakhand). Doordarshan News Ekansh has been working as Assistant Editor (Casual) in Dehradun for the last 8 years. also has frequent participation in interviews and poet conferences in Doordarshan's programs.
error: Content is protected !!