देहरादून: देहरादून में बिंदाल नदी लोगों पर कहर बनकर टूट पड़ी। नदी में उफान आने से गांधीग्राम स्थित सत्तोवाली घाटी में पुश्ते का बड़ा हिस्सा टूट गया। जिसके चलते करीब एक दर्जन मकान पूरी तरह से ध्वस्त हो गए, जबकि करीब 50 मकानों में काफी नुकसान हुआ है। अतिक्रमण कर बनाए गए कई मकानों पर भी खतरा मंडरा रहा है।
गनीमत रही कि इस दौरान जनहानि नहीं हुई। ऐहतियात के तौर पर प्रशासन ने आसपास के करीब साठ मकान खाली करा दिए और प्रभावितों को नगर निगम के रैन बसेरों, धर्मशालाओं और सरकारी स्कूलों में शिफ्ट कर दिया। नगर के महापौर सुनील उनियाल गामा व क्षेत्रीय विधायक हरबंस कपूर भी देर रात तक वहीं डटे रहे और राहत कार्यों का जानकारी लेते रहे।
डीएम डॉ. आर राजेश कुमार ने बताया कि प्रभावित परिवार सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट कर दिए गए हैं। दिन में बारिश तो नहीं आइर्, लेकिन बिंदाल नदी का जलस्तर कम नहीं हुआ। ऊपरी पर्वतीय क्षेत्रों में बारिश के कारण बिंदाल नदी ऊफान पर रहती है और सत्तोवाली घाटी इसी के दोनों छोर पर बसी है। सुरेंद्र ने बताया कि अचानक रात करीब साढ़े नौ बजे नदी उफान पर आने से पुश्ते का एक बड़ा हिस्सा गिर गया।
अच्छी बात यह रही कि उस दौरान सभी लोग चौकस थे और सुरक्षित स्थान पर खड़े थे। देखते ही देखते करीब एक दर्जन मकान ध्वस्त हो गए और बाकी मकानों में दरारें पड़ गईं। नदी का तेज बहाव काफी अंदर तक पहुंच गया। बिंदाल नदी के ऊफान से सिर्फ एक पुलिया भी बह गई। पुलिया बहने से प्रशासन की टीमों को राहत व बचाव कार्य में काफी परेशानी उठानी पड़ी।
नदी के कहर से बचने के लिए जिसे जो सामान मिला वह लेकर भाग निकला। इस दौरान कुछ लोग अपने बच्चों को बचाने के लिए गोद में लेकर भागे तो कुछ सामान को बचाने की जिद्दोजहद में जुटे रहे। सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किए गए लोग रोते-बिलखते रहे कि अब वे कहां रहेंगे और खान-पान की कैसे व्यवस्था करेंगे।