Monday , 16 June 2025
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उत्तराखंड : हरक को माफी की शर्त पर ही मिली एंट्री, देखें माफीनामा

देहरादून : हरक सिंह रावत की कांग्रेस में घर वापसी हो गई है। पिछले 5 दिनों से हरक सिंह रावत जिसका इंतजार कर रहे थे, आखिरकार वह इंतजार खत्म हुआ और अपने राजनीतिक जीवन के सबसे बड़े संकट से फिलहाल बाहर निकल गए हैं। हरक सिंह रावत ने मीडिया में बयान दिया था कि कोई माफीनामा उन्होंने नहीं दिया है।

लेकिन, अब हक सिंह का वह लिखित बयान सामने आया है, जिसके आधार पर कांग्रेस में उनकी वापसी हुई है। पूर्व सीएम हरीश रावत हरक सिंह रावत की राह में सबसे बड़ा रोड़ा थे। उन्हीं के कारण अब तक उनकी एंट्री नहीं हो पा रही थी। हरक का लेटर अब वायरल हो रहा है, जिसमें उन्होंने पूरे घटनाक्रम और पूरी पटकथा के लिए भाजपा को जिम्मेदार ठहराया है।

ये है हरक का लेट

भाजपा नेताओं ने 2014 लोकसभा चुनावों में जनता से बहुत बड़े-2 वायदे कर “अच्छे दिनों” के सपने दिखाए। जनता से भाजपा ने वायदे किए थे कि महंगाई कम होगी, युवाओं को रोजगार मिलेगा, विदेशों से काला धन लाकर हर व्यक्ति को 15-15 लाख देंगे आदि-२ हमें व उत्तराखण्ड की महान जनता को भरोसा दिलाया कि डबल इंजन की सरकार बनने पर ये तमाम किए गए वायदों के साथ “पहाड़ों की जवानी व पहाड़ों का पानी” बर्बाद न होने देने का वायदा भी इन वायदों की इस सूची में जोड़ दिया।

इन वायदों से मुझे उम्मीद जगी कि उत्तराखण्ड में पलायन की समस्या, बेरोजगारी व शिक्षा स्वास्थ्य सुविधाओं की कमी भी दूर करने में केंद्र सरकार से विशेष सहायता मिलेगी। भाजपा नेताओं ने 2016 में भी मुझे भरोसा दिलाया कि उत्तराखण्ड में भाजपा सरकार बनने पर तमाम समस्याओं को सुलझाने में केंद्र सरकार से विशेष सहायता मिलेगी। यही वायदे दोबारा 2017 के विधानसभा चुनावों में भी दोहराए गए।

2017 चुनावों में भाजपा सरकार बनने पर मैं इन वायदों को पूरा करने के लिए भाजपा के शीर्ष नेताओं से बार-२ आग्रह करता रहा जिसे हर बार यह कहकर टालते रहे कि विचार-विमर्श चल रहा है। सरकार का कार्यकाल समाप्त होने पर भी ये तमाम वायदे पूरे नहीं हुए और ये वायदे सिर्फ “जुम्ले” साबित हुए। भाजपा के मुख्यमंत्री बदलने से उम्मीद जगती थी जो कुछ समय में धूमिल हो जाती गई। सरकार का कार्यकाल समाप्त होने के समय भी मैंने बार-२ भाजपा नेताओं को आगाह किया कि चुनावी वायदों को पूरा करो लेकिन जब कोई सकरात्मक कार्यवाही नहीं हुई तो अंततः मैंने भाजपा को छोड़ने का फैसला ले लिया।

आज मैं जब पूर्व की घटनाओं का अवलोकन कर रहा हूँ और भाजपा व पूर्व कांग्रेस सरकार का तुलनात्मक अध्ययन कर रहा हूँ तो इस निष्कर्ष पर पहुंचा कि उत्तराखण्ड की समस्याओं को सुलझाने व उत्तराखण्ड के चहुंमुखी विकास में कांग्रेस की सरकारों का बेहतरीन योगदान रहा है। पूर्व की इन घटनाओं के अवलोकन से ऐसा महसूस होता है कि कांग्रेस छोड़ने का फ़ैसला मेरे राजनैतिक जीवन की सबसे बड़ी भूल थी जिसके लिए मैं कांग्रेस के तमाम कार्यकर्ताओं व नेताओं तथा उत्तराखण्ड की महान जनता से क्षमायाचना करता हूँ।

उत्तराखण्ड के विकास में हरीश रावत के नेतृत्व वाली सरकार के आगे भाजपा सरकार दूर-2 तक भी कहीं मुकाबला नहीं कर पाई। जनता से झूठे वायदे कर ठगने वाली व लोकतंत्र को अपमानित करने वाली भाजपा ने आगामी चुनावों में वोट मांगने का नैतिक अधिकार भी खो दिया है। आज मुझे अहसास हुआ कि उत्तराखण्ड का तभी भला होगा जब उत्तराखण्ड में पूर्ण बहुमत की स्थिर सरकार बनेगी।

इसीलिए मैं कांग्रेस सरकार बनाने के लिए पूरी ताकत से प्रयास करूंगा ताकि जो सपने उत्तराखण्ड बनाने वाले आंदोलनकारियों ने देखे थे वो पूरा हो सकें। 2016 में भाजपा ने कांग्रेस सरकार को अस्थिर कर अपनी सरकार बनाने के लिए कांग्रेस विधायकों दुरुपयोग किया और लोकतंत्रात्मक तरीकों को तार-2 कर दिया था।

About प्रदीप रावत 'रवांल्टा'

Has more than 19 years of experience in journalism. Has served in institutions like Amar Ujala, Dainik Jagran. Articles keep getting published in various newspapers and magazines. received the Youth Icon National Award for creative journalism. Apart from this, also received many other honors. continuously working for the preservation and promotion of writing folk language in ranwayi (uttarakhand). Doordarshan News Ekansh has been working as Assistant Editor (Casual) in Dehradun for the last 8 years. also has frequent participation in interviews and poet conferences in Doordarshan's programs.

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