देहरादून: लंबे अंतराल के बाद पुलिस की भर्ती होने जा रही है। 7 साल से पुलिस भर्ती की राह देख रहे प्रदेश के युवाओं के लिए अच्छी खबर है, लेकिन कई युवाओं के लिए मायूस कर देने वाली खबर भी है। बेरोजगार युवा अधिकतम आयु सीमा को बढ़ाने की मांग कर रहे हैं, लेकिन आयोग ने साफ किया है कि, पुरानी आयु सीमा के अनुसार ही विज्ञप्ति निकाली जाएगी।
प्रदेश सरकार ने उत्तराखंड पुलिस में 1521 पदों और दरोगा के 197 पदों पर भर्ती की मंजूरी दी है। लेकिन लम्बे समय बाद आ रही इस भर्ती के लिए कई युवा अधिकतम आयु सीमा को पार कर चुके हैं। ऐसे में युवा उन्हें भी मौका दिए जाने को लेकर अधिकतम आयु सीमा में बढ़ोतरी की मांग कर रहे हैं।
बेरोजगार युवाओं की मांग को देखते हुए उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (UKSSSC) ने भर्ती प्रक्रिया से पहले आयु सीमा को लेकर शासन से दिशानिर्देश मांगे थे, लेकिन बीते दिन शासन से भर्ती की मंजूरी के आदेश में आयु सीमा का जिक्र नहीं किया गया है।
चयन आयोग (UKSSSC) के सचिव संतोष बडोनी ने बताया कि, पुलिस मुख्यालय से भर्तियों का प्रस्ताव पहले भी आ चुका है, लेकिन आयु सीमा के चलते विज्ञप्ति जारी नहीं की जा सकी थी। आयोग की ओर से इसका पत्र सरकार को भेजा गया था, लेकिन अभी इस पर निर्णय नहीं हो पाया है।
संतोष बडोनी ने बताया कि, आयु सीमा को लेकर स्थिति साफ नहीं होने के कारण पुरानी आयु सीमा के अनुसार ही भर्ती के लिए विज्ञप्ति निकाली जाएगी। वहीं कोरोनाकाल के चलते भर्ती में शामिल होने वाले युवाओं के लिए एक साल की अतिरिक्त छूट मिलेगी।
बता दें कि प्रदेश में कांस्टेबल की भर्ती के लिए उम्र सीमा 18 से 22 साल निर्धारित है, लेकिन कोरोना काल के चलते शासन की ओर से प्रदेश में होने वाली भर्तियों में युवाओं को एक साल की छूट प्रदान की गई है, यह छूट पुलिस भर्ती में भी मिलेगी। जिसके बाद सामान्य वर्ग के युवाओं के लिए अधिकतम आयु सीमा 23 साल हो जाएगी, जबकि आरक्षित श्रेणियों को नियमानुसार अतिरिक्त छूट मिलेगी।
भर्ती में आयु सीमा बढ़ाने को लेकर देवभूमि बेरोजगार मंच ने कोर्ट में भी वाद दायर किया था। कोर्ट ने उनकी याचिका खारिज कर दी। हालांकि विवादों की आशंका को देखते हुए आयोग ने पहले ही इस पर सरकार से स्थिति स्पष्ट करने को कहा, जिससे बाद अब यह बयान आया है। वहीं, इस फैसले के साथ ही हजारों बेरोजगार युवाओं का पुलिस में भर्ती का सपना बिना मौका मिले ही अधूरा रह जाएगा।