Sunday , 27 July 2025
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पहालवानों का जबरदस्त प्रदर्शन, भारत ने कुश्ती में 3 स्वर्ण, 1 रजत और 2 कांस्य जीते

CWG में आठवें दिन कुश्ती की शुरुआत हुई और भारत के कई दिग्गज एथलीट्स इसमें दांव-पेंच लगाने के लिए मैट पर उतरे। भारतीय फैंस को शुक्रवार को पदक आने की उम्मीद तो थी, लेकिन सिर्फ पदक आए नहीं, बल्कि पदकों की बारिश हुई। भारत ने शुक्रवार तीन स्वर्ण, एक और दो कांस्य समेत कुश्ती में कुल छह पदक जीते। इससे भारत के कुल पदकों की संख्या 26 पहुंच गई है। पदक तालिका में भारतीय टीम फिलहाल पांचवें नंबर पर है।

दिग्गज पहलवान बजरंग पूनिया ने राष्ट्रमंडल खेलों में लगातार दूसरा स्वर्ण पदक जीत लिया है। उन्होंने फ्रीस्टाइल 65 किग्रा वर्ग में कनाडा के लचलान मैकनिल को 9-2 से हराया। भारत का बर्मिंघम में कुश्ती में यह पहला स्वर्ण पदक रहा। इसके बाद तो स्वर्ण की झड़ी लग गई। बजरंग ने इससे पहले 2018 राष्ट्रमंडल खेलों में भी स्वर्ण जीता था। वहीं, 2014 में उन्होंने रजत पदक अपने नाम किया था।

साक्षी मलिक ने राष्ट्रमंडल खेलों में इतिहास रच दिया। उन्होंने पहली बार स्वर्ण पदक अपने नाम कर लिया। साक्षी ने फ्रीस्टाइल 62 किग्रा वर्ग में कनाडा की एन्ना गोडिनेज गोंजालेज को हराया। साक्षी ने पहले विपक्षी खिलाड़ी को चित्त कर चार अंक हासिल किए। उसके बाद पिनबॉल से जीत हासिल की। साक्षी इससे पहले राष्ट्रमंडल खेलों में रजत (2014) और कांस्य पदक (2018) जीत चुकी थीं। साक्षी ने 4-0 पिछड़ने के बाद जबरदस्त वापसी की। उन्होंने पहले स्कोर 4-4 से बराबर किया और फिर पिनफॉल से मैच जीत लिया। यह आठवें दिन का भारत को दूसरा स्वर्ण रहा।

दीपक पूनिया ने भारत को बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में अब तक का सबसे यादगार स्वर्ण पदक दिलाया। उन्होंने फ्रीस्टाइल 86 किग्रा वर्ग में पाकिस्तान के मोहम्मद इनाम को हरा दिया। इनाम के खिलाफ पूनिया ने जबरदस्त प्रदर्शन किया। उन्होंने पाकिस्तानी पहलवान को एक भी मौका नहीं दिया। दीपक ने यह मैच 3-0 से अपने नाम कर लिया। यह राष्ट्रमंडल खेलों में दीपक पूनिया का पहला पदक है। इस तरह भारत को कुश्ती में तीसरा स्वर्ण मिला।

भारत की पहलवान अंशु मलिक को फ्रीस्टाइल 57 किग्रा वर्ग में रजत पदक से संतोष करना पड़ा। उन्हें फाइनल में नाइजीरिया की ओडानायो फोलासाडो ने 7-3 से हराया। ओडानायो ने लगातार तीसरी बार स्वर्ण जीता। वहीं, अंशु को अपने पहले राष्ट्रमंडल खेलों में रजत से संतोष करना पड़ा। हार के बाद मैट पर अंशु भावुक हो गई थीं और रोने भी लगी थीं। हालांकि, उन्होंने देश को गर्व करने का मौका दिया।

2018 राष्ट्रमंडल खेलों की कांस्य पदक विजेता दिव्या काकरन बर्मिंघम से भी खाली हाथ नहीं लौटेंगी। उन्होंने फ्रीस्टाइल 68 किग्रा वर्ग में कांस्य पदक के मैच में टोंगा की लिली कॉकर को 2-0 से हराया। उन्होंने यह मैच सिर्फ 30 सेकंड में अपने नाम कर लिया। दिव्या ने एशियाई खेलों (2018) में भी कांस्य पदक जीता था।

भारतीय पहलवान मोहित ग्रेवाल ने फ्रीस्टाइल 125 किग्रा वर्ग में कांस्य पदक जीता। उन्होंने जमैका के एरॉन जॉनसन को 6-0 से हरा दिया। कुश्ती में भारत का यह छठा पदक रहा। शुक्रवार को छह पहलवान उतरे और सभी ने देश को पदक दिलाया। इस तरह भारत के पदकों की संख्या 26 हो गई।

About प्रदीप रावत 'रवांल्टा'

Has more than 19 years of experience in journalism. Has served in institutions like Amar Ujala, Dainik Jagran. Articles keep getting published in various newspapers and magazines. received the Youth Icon National Award for creative journalism. Apart from this, also received many other honors. continuously working for the preservation and promotion of writing folk language in ranwayi (uttarakhand). Doordarshan News Ekansh has been working as Assistant Editor (Casual) in Dehradun for the last 8 years. also has frequent participation in interviews and poet conferences in Doordarshan's programs.

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