Friday , 7 February 2025
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डॉलर के मुकाबले अब तक के सबसे निचले स्तर पर पहुंचा रुपया

शेयर बाजार खुलते ही धड़ाम हो गया। रियल एस्टेट, फाइनेंशियल सर्विस और कंज्यूमर ड्यूरेबल स्टॉक तेजी से नीचे आ गए। वहीं रुपया भी इतिहास के सबसे निचले स्तर पर आ गया है।
 
डॉलर के मुकाबले रुपया सोमवार को 86.27 रुपये पर पहुंच गया। अभी दो दिन पहले शुक्रवार को भी रुपया लाइफ टाइम लो पर पहुंच गया था। सुबह 9:20 बजे बीएसई 677.22 प्वाइंट और एनएसई 212.90 प्वाइंट टूट गया।
 

रुपया आज यानी 13 जनवरी को अपने रिकॉर्ड ऑल टाइम लो पर आ गया है। इसमें अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 27 पैसे की गिरावट देखने को मिली और यह 86.31 रुपए प्रति डॉलर के अब तक के सबसे निचले स्तर पर है। इससे पहले 11 जनवरी को डॉलर के मुकाबले रुपया 86.12 पर बंद हुआ था।

एक्सपर्ट्स के मुताबिक, रुपए में इस गिरावट की वजह हाल ही में भारतीय शेयर मार्केट में विदेशी निवेशकों के जरिए की जा रही बिकवाली है। इसके अलावा जिओ पॉलिटिकल टेंशन्स कारण भी रुपए पर नेगेटिव असर पड़ा है।

रुपये में गिरावट का मतलब है कि भारत के लिए चीजों का इंपोर्ट महंगा होना है। इसके अलावा विदेश में घूमना और पढ़ना भी महंगा हो गया है। मान लीजिए कि जब डॉलर के मुकाबले रुपए की वैल्यू 50 थी तब अमेरिका में भारतीय छात्रों को 50 रुपए में 1 डॉलर मिल जाते थे। अब 1 डॉलर के लिए छात्रों को 86.31 रुपए खर्च करने पड़ेंगे। इससे फीस से लेकर रहना और खाना और अन्य चीजें महंगी हो जाएंगी।

डॉलर की तुलना में किसी भी अन्य करेंसी की वैल्यू घटे तो उसे मुद्रा का गिरना, टूटना, कमजोर होना कहते हैं। अंग्रेजी में करेंसी डेप्रिशिएशन। हर देश के पास फॉरेन करेंसी रिजर्व होता है, जिससे वह इंटरनेशनल ट्रांजैक्शन करता है। फॉरेन रिजर्व के घटने और बढ़ने का असर करेंसी की कीमत पर दिखता है।

About प्रदीप रावत 'रवांल्टा'

Has more than 19 years of experience in journalism. Has served in institutions like Amar Ujala, Dainik Jagran. Articles keep getting published in various newspapers and magazines. received the Youth Icon National Award for creative journalism. Apart from this, also received many other honors. continuously working for the preservation and promotion of writing folk language in ranwayi (uttarakhand). Doordarshan News Ekansh has been working as Assistant Editor (Casual) in Dehradun for the last 8 years. also has frequent participation in interviews and poet conferences in Doordarshan's programs.
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